जल के बिना जीवन जीने की कल्पना सम्भव नहीं– रविंद्र मिश्रा

इटावा। विश्व जल दिवस के अवसर पर सामाजिक वानिकी प्रभाग एवं जिला जिला गंगा सुरक्षा समिति के तत्वाधान में कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालय मे जागरूकता गोष्ठी का आयोजन किया गया। जागरूकता गोष्टी का शुभारंभ करते हुए वार्डन मीनाक्षी शुक्ला ने बताया कि प्रकृति के खजाने से हम जितना पानी लेते हैं, उसे वापस भी हमें ही लौटाना भी है। हम स्वयं पानी का निर्माण नहीं कर सकते अतः प्राकृतिक संसाधनों को दूषित न होने दें और पानी को व्यर्थ न गँवाएँ यह प्रण ले कि हम पानी का दुरुपयोग नहीं करे।
रविंद्र मिश्रा ने कहा कि पृथ्वी पर जीवन का आधार पानी ही है जीव जंतुओं के लिए समान रूप से आवश्यक है इसके बिना जीवन की कल्पना भी नहीं की जा सकती है लेकिन आज पूरे विश्व में पीने योग्य पानी की कमी एक गंभीर समस्या बन गई है।

डीपीओ संजीव चौहान ने बताया कि इस वर्ष 22 मार्च विश्व जल दिवस की थीम ग्लेशियर संरक्षण है। ग्लेशियर पृथ्वी पर जीवन के लिए आवश्यक हैं वे ग्रह को ठंडा रखते हैं,साथ ही दुनिया के मीठे पानी का एक महत्वपूर्ण हिस्सा संग्रहीत करते हैं, झीलों और नदियों को पानी देते हैं और पारिस्थितिकी तंत्र को बनाए रखते हैं।
जेआरएफ डॉ. संगीता ने बताया कि विश्व जल दिवस का उद्देश्य पानी के महत्व के बारे में जागरूकता बढ़ाना और स्थायी जल प्रबंधन को देखना है। प्रत्येक वर्ष इस दिन जल संसाधनों को बढ़ावा देने पर ध्यान केंद्रित किया जाता है यह दुनिया भर में व्यक्तियों, समुदायों और सरकारों को पानी के संरक्षण और भविष्य की पीढ़ियों के लिए इसकी उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए कदम उठाने के लिए प्रोत्साहित करता है।
कार्यक्रम को सफल बनाने में स्कॉन वन विभाग एवं विद्यालय के रन्नो शर्मा, वंदना दीक्षित,गुंजन, आशीष,रश्मि,एकता शुक्ला,ज्योति वर्मा, शिवांगी,दीपिका,इरफ़ान, अनुज तिवारी व सौरव सिंह का उल्लेखनीय योगदान रहा।

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